۴ آذر ۱۴۰۳
|۲۲ جمادیالاول ۱۴۴۶
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Nov 24, 2024
बैनल हरमैन
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शरई अहकामः
हरम के अतराफ के अहाते से ज़ियारत करना
हौज़ा | अरबीन के दिनों में भारी भीड़ के कारण, कुछ लोगों के लिए इमाम हुसैन (अ) के हरम और कभी-कभी बैनल हरमैन में प्रवेश करना बहुत मुश्किल और असंभव होता है, और कभी-कभी यह दूसरों के लिए दर्द का कारण बनता है। ऐसे में क्या हरम के आसपास से ज़ियारत पढ़ना काफी है?
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तस्वीरें/ इमाम हसन मुज्तबा (अ.स.) की शहादत के मौक़े पर बैनल हरमैन मजलिसे अज़ा
हौज़ा / इस्लामी कैलेंडर के दूसरे महीने सफर के सातवें दिन इराक और कई देशों में इमाम हसन मुजतबा (अ) की शहादत मनाई जाती है। इस सिलसिले में कर्बला में एक मातमी मजलिस का आयोजन किया गया, जहां बड़ी संख्या में अज़ादारी करने वाले लोग मौजूद थे।