۱۵ تیر ۱۴۰۳
|۲۸ ذیحجهٔ ۱۴۴۵
|
Jul 5, 2024
वाजिब और मुस्तहाब नमाज़ों
Total: 2
-
शरई अहकाम:
मुस्तहब नमाजों को बुलंद आवाज़ से पढ़े या आहिस्ता?
हौज़ा / कोई फर्क नहीं है चाहे आहिस्ता पढ़े या बुलंद आवाज़ से
-
मुस्तहब नमाज़ों में हिजाब का ख्याल रखना
हौज़ा / क्या मुस्तहब नमाज़ों जैसे नमाजे शब में ज़रूरी है की औरतें वाजिब नमाजों की तरह हिजाब का ख्याल रखें?अगर इस तरह का ख्याल ना रखा जाए तो क्या नमाज़ बातिल हैं?