हौज़ा/अगर मामला नक़्द का था और उस मामले में पहले से कोई शर्त नहीं थी तो कोई हरज नहीं हैं, लेकिन अगर मामला ऐसा हो जिसमें चीज़ की क़ीमत पहले अदा की जाए और चीज़ के हाथ में आने के लिए मुद्दत दरकार…