۲ آذر ۱۴۰۳
|۲۰ جمادیالاول ۱۴۴۶
|
Nov 22, 2024
ज़िंदगी में इम्तेहान
Total: 1
-
दरस ए अख़्लाक़
ख़ुद को कैसे बदलें?
हौज़ा/ज़िंदगी में इम्तेहान आपको मज़बूत बनाने के लिए आते हैं इसलिए उसका डट कर सामना कीजिए अपने आप को यक़ीन दिलाइए कि मेरा अल्लाह मेरा रब मुझसे इतनी मोहब्बत करता है बेशक वह मुझे इम्तेहान में डालकर कुछ सीख देना चाहता है।