हौज़ा/घराना समाज का बुनियादी सुतून है, समाज की असली बुनियाद है। एक अच्छे, ज़िंदादिल और ऊर्जावान परिवार की मदद के बिना इस्लामी समाज प्रगति कर ही नहीं सकता विशेष रूप से सांस्कृतिक मैदानों में