हौज़ा / इमाम अली (अ) ने नहजुल बलाग़ा की हिकमत संख्या 31 में फ़रमाया है कि ईमान चार स्तंभों पर आधारित है: सब्र, यक़ीन, इंसाफ़ और जिहाद।