हौज़ा न्यूज़ एजेंसी के अनुसार, हौज़ा ए इल्मिया के निदेशक आयतुल्लाह आराफ़ी ने अपने संदेश में प्रोफेसर खुर्शीद अहमद के निधन पर पूरी इस्लामी दुनिया विशेष रूप से पाकिस्तान के धार्मिक व सांस्कृतिक हल्कों, उलेमा, विद्वानों और मुसलमानों से संवेदना व्यक्त की और इस्लामी आर्थिक और राजनीतिक विचारधारा के प्रचार में उनके मूल्यवान योगदान को श्रद्धांजलि दी।
उनका पूरा संदेश इस प्रकार है:
इन्ना लिल्लाहि व इन्ना इलाही राजी'उन
बिस्मिल्लाहिर्रहमानिर्रहीम
इस्लामी अर्थव्यवस्था, राजनीति और दर्शनशास्त्र के प्रसिद्ध विद्वान और प्रतिष्ठित शख्सियत प्रोफेसर डॉ. खुर्शीद अहमद के निधन पर मैं इस्लामी जगत, विशेषकर पाकिस्तान के उलेमा, विद्वानों और मुसलमानों के प्रति अपनी गहरी संवेदना प्रकट करता हूँ।
मरहूम डॉ. खुर्शीद अहमद उन महान हस्तियों में से थे जिन्होंने इस्लामी आर्थिक और राजनीतिक व्यवस्था के विकास और प्रसार के लिए सकारात्मक और प्रभावशाली कदम उठाए तथा अपने पीछे अमूल्य बौद्धिक और वैचारिक धरोहर छोड़ी। धार्मिक व बौद्धिक संस्थाएं और हौज़ा ए इल्मिया उनके योगदान की सराहना करती हैं।
मैं अल्लाह ताला से दुआ करता हूं कि परिवार वालों को सब्र आता करें और मरहूम की मग़फिरत करें और उन्हें जवारे अहलेबैत अ.स. में जगह करार दें।
अली रज़ा आराफ़ी
निदेशक, हौज़ा ए इल्मिया
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