۴ آذر ۱۴۰۳
|۲۲ جمادیالاول ۱۴۴۶
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Nov 24, 2024
बसीरत
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अल्लाह का रसूल किसी विशेष स्कूल, संप्रदाय, राष्ट्र और जाति के लिए नहीं बल्कि मानवता की दुनिया के लिए दया और मार्गदर्शन का स्रोत है, आरिफ हुसैन
हौज़ा / आईएसओ पाकिस्तान के अध्यक्ष: एकता के जरिए ही हम अपने दुश्मन का सामना कर सकते हैं और उनके नापाक इरादों को नाकाम कर सकते हैं।
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इमाम रज़ा (अ.स.) की इल्मी और अमली सीरत पर एक नज़र, मैलाना सैयद रज़ी
हौज़ा / इमाम रज़ा लोगो से बहुत ही एंकिसरी के साथ पेश आते थे जबकि आप अपनी उमर के एक हिस्सा मै वाली अहदी के मुकाम पर फायेज थे (अ) इस के बावजूद लोगों के साथ बहुत विनम्रता के साथ व्यवहार करते थे।
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इमाम खुमैनी ऐसी बा बसीरत और हकीमाना व्यक्तित्व के मालिक थे जिन्होंने दोस्ती के चोग़े की आड़ मे छुपे इस्लाम के दुश्मनों के चेहरों को उजागर किया, अल्लामा शहंशाह हुसैन नक़वी
हौज़ा / वो इस्लामिक दुनिया के दुश्मन, संयुक्त राज्य अमेरिका, इज़राइल और उनके अनुयायियों के खिलाफ आखिरी सांस तक डटे रहे, इमाम ख़ुमैनी मुस्लिम उम्मा के अस्तित्व को आपसी एकता और भाईचारे की शर्त पर मानते थे।