हौज़ा न्यूज़ एजेंसी के अनुसार, निम्नलिखित परंपरा "ओयून अल-अख़बार अल-रज़ा" पुस्तक से ली गई है। इस रिवायत का पाठ इस प्रकार है:
قال الامام الرضا علیه السلام:
اَللّهُمَّ اِنْ لَمْ تَکُنْ غَفَرْتَ لَنا فیما مَضی من شعبان فاغفر لنا فیما بقی منه.
इमाम रज़ा (अ) ने फ़रमाया:
ऐ अल्लाह, यदि तूने शाबान के महीने के गुज़रे दिनों में हमें क्षमा नहीं किया तो इस महीने के बाकी बचे समय में हमें क्षमा कर दे।
ओयून अख़बार अल-रज़ा, भाग 2, पेज 51
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