हौज़ा न्यूज़ एजेंसी के अनुसार, फिलिस्तीनी समाचार एजेंसी शहाब के हवाले से जारी बयान में कहा गया है कि ग़ाज़ा में एक और पत्रकार की शहादत के बाद अब तक कुल 215 पत्रकार शहीद हो चुकी हैं।
बयान के मुताबिक, शहीद हसन असलीह उस समय शहीद हुए जब उन्हें इस्राइली शासन द्वारा किए गए हत्या के प्रयास में गंभीर रूप से घायल किए जाने के बाद नासिर अस्पताल में भर्ती कराया गया था। इस्राइली हमलावरों ने अस्पताल पर हमला कर उन्हें शहीद कर दिया।
ग़ाज़ा सरकार के सूचना कार्यालय ने इस्राइली कब्जाधारी ताकतों द्वारा फिलिस्तीनी पत्रकारों की हत्या की सख्त निंदा की और अंतरराष्ट्रीय पत्रकार संघों, अरब पत्रकार यूनियनों और संबंधित सभी संस्थाओं से मांग की कि वे इन सुनियोजित हमलों की खुलकर निंदा करें।
इस बयान में इस्राइली शासन, अमेरिका और ग़ाज़ा में नरसंहार में भागीदार अन्य देशों जैसे ब्रिटेन, जर्मनी और फ्रांस को इन अपराधों का पूर्ण ज़िम्मेदार बताया गया है। साथ ही वैश्विक समुदाय, अंतरराष्ट्रीय संस्थाओं और पत्रकार संगठनों से अपील की गई है कि वे इन अपराधों की निंदा करें, और इस्राइली नेतृत्व को अंतरराष्ट्रीय न्यायालयों में सज़ा दिलाने के लिए कार्रवाई करें।
ग़ाज़ा सरकार ने अंतरराष्ट्रीय समुदाय से यह भी मांग की कि वे इस्राइली शासन पर गंभीर और प्रभावशाली दबाव डालें ताकि ग़ाज़ा में हो रहे नरसंहार को रोका जा सके, पत्रकारों की सुरक्षा सुनिश्चित हो, और उनकी हत्याओं पर रोक लगे।
गौरतलब है कि हसन असलीह, जो एक महीने पहले नासिर अस्पताल में पत्रकारों के शिविर पर इस्राइली हमले में घायल हुए थे, अस्पताल के जलन विभाग में इलाज के दौरान इस्राइली वायुसेना के दोबारा हमले में शहीद हो गए। अस्पताल सूत्रों ने बताया कि हमले में जलन विभाग को सीधे तौर पर निशाना बनाया गया जिससे कई अन्य लोग भी घायल हुए।
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