हज़रत अली अलैहिस्सलाम
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दिन की हदीस:
मुनाफ़िक, हज़रत अली अलैहिस्सलाम की नज़र में
हौज़ा / हज़रत इमाम अली अ.स. ने एक रिवायत में मुनाफ़िक़ की निशानियाँ बयान फरमाई हैं।
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दिन की हदीस:
हज़रत इमाम अली अलैहिस्सलाम की बहुत उपयोगी सलाह
हौज़ा / हज़रत इमाम अली अ.स. ने एक रिवायत में दूसरों की गलतियों को देखने से पहले अपनी गलतियों पर निगाह करने की नसीहत फरमाई हैं।
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ईद ए मुबाहिला,यह ईद सच्चों की ईद है
हौज़ा / यह वाक्या 10 हिजरी का है जब अरब में मौजूद एक इलाक़ा जिसको नजरान के नाम से जाना जाता था वहाँ के ईसाइयों ने अल्लाह के रसूल हज़रत मुहम्मद स.ल.व.व.से हज़रत ईसा अलैहिस्सलाम के बारे में बहस की और हज़रत ईसा अलैहिस्सलाम को अल्लाह का बेटा बताया पैगंबर ने उन्हें कई बार समझाया कि अल्लाह के बंदे है इसी सिलसिले को लेकर झूठ और सच के लिए मुबाहिला हुआ
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दिन की हदीस:
ग़फ्लत और ग़ुरूर का सबक तीन आदत
हौज़ा/हज़रत इमाम अली अलैहिस्सलाम ने एक रिवायत में तीन आदात से दूरी अख्तियार करने का हुक्म दिया हैं।
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दिन की हदीस:
सख्त कामों को अंजाम देने का तरीका
हौज़ा / हज़रत इमाम अली अलैहिस्सलाम ने एक रिवायत में सख्त कामों को अंजाम देने के तरीके को बयांन किया हैं।
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विद्वान विचारकों की नज़र में ज़ात-ए अली इब्न अबी तालिब (अ.स.) और मौलूदे काबा का जश्न
हौज़ा / 13 रजब एक महान तारीख है, इस दिन इतिहास के इस महान व्यक्ति का जन्म हुआ था, जिनकी शिक्षाएँ आज भी मानव जाति को लाभान्वित कर रही हैं, वह व्यक्ति जिसका दिल केवल अपने लिए नहीं है, बल्कि हर इंसान के लिए धड़कता है। क्या ऐसे व्यक्ति का जन्म हमारे देश में इस तरह से नहीं मनाया जाना चाहिए कि दूसरे देश इस बात से आकर्षित हों कि हम इतिहास के एक महान व्यक्ति का जन्म मना रहे हैं?
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हज़रत फ़ातिमा ज़हेरा स.अ. के दफ़्न के मौक़े पर हज़रत अली अलैहिस्सलाम का अहम ख़ुत्बा
हौज़ा/हज़रत इमाम अली अलैहिस्सलाम ने यह शब्द हज़रत फ़ातिमा ज़हरा स.अ के दफ़्न के मौक़े पर पैग़म्बरे इस्लाम स.ल.व.व. से राज़दाराना गुफ़्तगू के अन्दाज़ में बयान फ़रमाया
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हज़रत अली अलैहिस्सलाम की हर फज़ीलत की ज़ीनत का नाम ज़ैनबे कुबरा स.ल. हैं।मौलाना कुमैल अब्बास
हौज़ा/ अल्लाह तआला ने जनाबे ज़ैनब को अपने बाबा की ज़ीनत बनाकर पैदा किया है यानी हज़रत अली अलैहिस्सलाम की हर फज़ीलत की ज़ीनत का नाम ज़ैनबे कुबरा हैं।
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:दिन कि हदीस
हज़रत अली अलैहिस्सलाम की नज़र में दोस्त और दुश्मन
हौज़ा/हज़रत इमाम अली अ.स. ने एक रिवायत में दोस्त और दुश्मन की पहचान कराई हैं।
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:दिन कि हदीस
ज़बान को कैदी बनाना
हौज़ा/ हज़रत इमाम अली अलैहिस्सलाम ने एक रिवायत में ज़बान को कैदी बनाने की सलाह दी हैं।
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:दिन की हदीस
अल्लाह तआला की पहचान का लाभ और फल
हौज़ा/हज़रत इमाम अली अलैहिस्सलाम ने एक रिवायत में अल्लाह तआला की पहचान के लाभ और फल की ओर इशारा किया हैं।
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:दिन की हदीस
हज़रत इमाम अली अलैहिस्सलाम की व्यापारियों को सलाह
हौज़ा/ हज़रत इमाम अली अलैहिस्सलाम ने एक रिवायत में तिजारत करने वालों और बिजनेस करने वालों को कुछ सलाह दी हैं।
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:दिन की हदीस
दिल को सुकून हासिल करने का रास्ता
हौज़ा/ हज़रत इमाम अली अलैहिस्सलाम ने एक रिवायत में दिल को सुकून हासिल करने के रास्ता की ओर इशारा किया हैं।
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:दिन की हदीस
ऐसा अमल जो इंसान के रिज़्क में इजाफ़ा करता है।
हौज़ा/ हज़रत इमाम अली अलैहिस्सलाम ने एक रिवायत में ऐसे अमल की ओर इशारा किया हैं, जो इंसान के रिज़्क और रोज़ी में इजाफ़े का सबब बनता है।
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अल्लाह के रसूल स.ल.व.व. और अली इब्ने अबी तालिब अ.स. वास्तव में यही आले इमरान है। डॉ उरूज जौनपुरी
हौज़ा/ हजरत अब्दुल्लाह इब्ने अब्बास रज़ि अल्लाह की रिवायत के मुताबिक नबी करीम ने फरमाया में आले इब्राहिम हूं, और मेरा भाई अली इब्ने अबी तालिब आले इमरान है, याद रहे कि हज़रत अबू तालिब का असली नाम इमरान है।
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:दिन की हदीस
बेहतरीन शिक्षा
हौज़ा/ हज़रत इमाम अली अलैहिस्सलाम ने एक रिवायत में बेहतरीन शिक्षा की ओर इशारा किया है।
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:दिन की हदीस
हज़रत अली अलैहिस्सलाम के बेशुमार फज़ाइल
हौज़ा/हज़रत रसूल अल्लाह (स.ल.व.व)ने एक रिवायत में हज़रत इमाम अली अलैहिस्सलाम के फज़ायेल कि बरकतों कि ओर इशारा किये है।
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:दिन की हदीस
अधिकारियों को हज़रत अली अ.स. की एक सलाह
हौज़ा/हज़रत इमाम अली अलैहिस्सलाम ने एक रिवायत में अधिकारियों को एक बेहतरीन नसीहत की है।
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:दिन की हदीस
फोज़ूलखर्ची के तीन अलामते
हौज़ा / इमाम अली अलैहिस्सलाम ने एक रिवायत में फोज़ूलखर्च की तीन अलामतओं की तरफ इशारा किया है।