۳ آبان ۱۴۰۳ |۲۰ ربیع‌الثانی ۱۴۴۶ | Oct 24, 2024
Jamaya

हौज़ा / जामिया अल मुस्तफ़ा स.ल.ने सैयद हाशिम सफ़ीउद्दीन की शहादत पर गहरे दु:ख और संवेदना व्यक्त की है और कहा शहीदों का बलिदान को इस्लामी मूल्यों और न्याय के प्रति उनकी प्रतिबद्धता का प्रतीक हैं।

हौज़ा न्यूज़ एजेंसी के अनुसार ,हौज़ा इल्मिया जामिया अल मुस्तफ़ा स.ल.ने सैयद हाशिम सफ़ीउद्दीन की शहादत पर शोक संदेश जारी किया है।

शोक संदेश कुछ इस प्रकार है:

بسم الله الرحمن الرحیم

فَلْیُقَاتِلْ فِی سَبِیلِ اللَّهِ الَّذِینَ یَشْرُونَ الْحَیَاةَ الدُّنْیَا بِالْآخِرَةِ ۚ وَمَنْ یُقَاتِلْ فِی سَبِیلِ اللَّهِ فَیُقْتَلْ أَوْ یَغْلِبْ فَسَوْفَ نُؤْتِیهِ أَجْرًا عَظِیمًا

बहादुर योद्धा और कुद्स के मार्ग के महान कमांडर, हिज़बुल्लाह लेबनान की कार्यकारी परिषद के अध्यक्ष हुज्जतुल इस्लाम वल मुस्लिमीन सैय्यद हाशिम सफीउद्दीन ज़ालिम इज़राईल शासन के आतंकवादी हमले में शहादत के उच्चतम दर्जे पर पहुंच गए।

इस अटल मुजाहिद ने वर्षों तक अपनी कीमती ज़िंदगी को लेबनान और फिलिस्तीन के मज़लूम लोगों की इज़्ज़त और इस्लामी प्रतिरोध के समर्थन में समर्पित किया। अपनी वर्षों की संघर्षशीलता का इनाम उन्हें शहादत के रूप में मिला और वे अपने शहीद साथियों से जा मिले जिनमें शहीद  अल्लामा सैय्यद हसन नसरल्लाह भी शामिल हैं।

जामिया अलमुस्तफा अलआलमिया, इस महान मुजाहिद और अडिग आलिम की शहादत पर हज़रत वली अस्र अ.ज.रहबर ए मोअज्जम लेबनान की बहादुर क़ौम उनके साथियों और इस शहीद के सम्मानीय परिवार के प्रति अपनी ताज़ियत पेश करता है।

यह घोषणा भी करता है कि ज़ायोनी आतंकी और शैतानी शासन के खिलाफ इस्लामी प्रतिरोध का रास्ता इन घटनाओं से नहीं रुकेगा बल्कि इस जालिम और अपार्थीड शासन की पूरी तरह से तबाही तक जारी रहेगा।

जामिया अलमुस्तफा अलआलमिया
24 अक्टूबर 2024

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