हौज़ा न्यूज़ एजेंसी के अनुसार, यह रिवायत "मकारिम अल-अख़लाक़" किताब से ली गई है। इस रिवायत का पाठ इस प्रकार है:
قال رسول اللہ صلی اللہ علیه وآله:
خَمْسٌ لَا أَدَعُهُنَّ حَتَّى الْمَمَاتِ: ... وَالتَّسْلِيمُ عَلَى الصِّبْيَانِ لِتَكُونَ سُنَّةً مِنْ بعدی
पैग़म्बर (स) ने फ़रमाया:
पाँच चीज़ें हैं जिन्हें मैं मरते दम तक नहीं छोड़ूँगा ताकि वे मेरे बाद सुन्नत बनी रहें। उनमें से एक है बच्चों को सलाम करना।
मकारिम अल-अख़लाक़, भाग 1, पेज 56
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