हौज़ा न्यूज़ एजेंसी के अनुसार , हुज्जतुल इस्लाम वल मुस्लिमीन हुज्जतुल्लाह सरवरी ने कहा है कि ग़ाज़ा में इस्राइली बर्बरता, हत्याकांड और नरसंहार सिर्फ फिलिस्तीनियों के खिलाफ नहीं बल्कि मानवता के खिलाफ एक गंभीर अपराध है, और इस्लामी दुनिया की चुप्पी इस दर्दनाक त्रासदी को और गहरा कर रही है।
उन्होंने कहा कि आज ग़ाज़ा में भूख, बीमारी और अकाल की जो भयावह स्थिति है वह इतिहास की सबसे बुरी मानवीय तबाहियों में से एक है। यूनिसेफ के अनुसार, पाँच लाख से अधिक लोग भुखमरी के गंभीर खतरे में हैं, जिनमें सत्तर हज़ार लोग मौत के कगार पर हैं।
उन्होंने अफसोस जताया कि इस्लामी सरकारें और मुस्लिम जनप्रतिनिधि इस समय बेपरवाही की मिसाल बने हुए हैं। बच्चे, महिलाएँ और मासूम लोग सिर्फ इसलिए शहीद हो रहे हैं क्योंकि वे सच्चाई पर हैं लेकिन दुनिया चुप है।
हुज्जतुल इस्लाम सरवरी ने कहा कि इस्राइली सेना जानबूझकर खाद्य केंद्रों को निशाना बना रही है, ताकि बच्चे और बीमार भूख से मर जाएँ। अगर आज पैगंबर इस्लाम (स.अ.व.) या हज़रत ईसा (अ.स.) हमसे पूछें कि तुमने मजलूमों के लिए क्या किया? तो क्या जवाब देंगे?
उन्होंने कहा कि कुरान मजीद ने यहूदियों की क्रूरता और फसाद को स्पष्ट किया है और मुसलमानों को चेतावनी दी है। आज उम्मत-ए-मुस्लिमा पर फर्ज है कि जुल्म के खिलाफ आवाज उठाए, वरना इतिहास उन्हें माफ नहीं करेगा।
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