हौज़ा न्यूज़ एजेंसी के अनुसार ,एक रिपोर्ट के अनुसार, दिल्ली में जमात-ए-इस्लामी हिंद के तहत जामा मस्जिद में एक मुबारक महफ़िल-ए-क़ुरआन का आयोजन किया गया इस कार्यक्रम में ईरान से आए मशहूर क़ारी, उस्ताद महदी मतानत ने अपनी रुहानी और दिलकश आवाज़ में तिलावत-ए-क़ुरआन पेश की। उनकी तिलावत ने उपस्थित लोगों के दिलों को रौशन किया और रूहों को सुकून पहुंचाया।
इस महफ़िल का उद्देश्य क़ुरआन पाक के पैग़ाम को आम करना और उसकी शिक्षाओं को दिलों तक पहुंचाना था। क़ारी महदी मतानत ने अपने अनोखे अंदाज़ में क़ुरआन की आयतें पेश कीं जिससे श्रोताओं पर गहरा रुहानी प्रभाव पड़ा।
इस अवसर पर वक्ताओं ने क़ुरआन की रोशनी में सामाजिक और आत्मिक सुधार के विभिन्न पहलुओं पर चर्चा की।कार्यक्रम में समाज के विभिन्न तबकों के लोगों ने हिस्सा लिया जो आपसी एकता और समरसता का बेहतरीन उदाहरण था।
यह रुहानी महफ़िल न केवल क़ुरआन से मोहब्बत और लगाव को मज़बूत करने का माध्यम बनी बल्कि उपस्थित लोगों को इसकी शिक्षाओं को अपनी ज़िंदगी में लागू करने की प्रेरणा भी दी। जमात-ए-इस्लामी हिंद की इस पहल को श्रोताओं ने बेहद सराहा और इस तरह के और कार्यक्रमों के आयोजन की इच्छा जताई।
आपकी टिप्पणी