सोमवार 4 अगस्त 2025 - 17:46
अरबाईन त्याग, एकता और उत्पीड़न के विरुद्ध प्रतिरोध का प्रतीक है: हुज्जतुल इस्लाम यूसुफ़ी

हौज़ा / हौज़ा ए इल्मिया आयतुल्लाह यस्रबी के शिक्षक, हुज्जतुल-इस्लाम वल-मुस्लेमीन हबीब यूसुफी ने अरबईन को त्याग, करुणा और स्वार्थ के त्याग का एक व्यावहारिक उदाहरण बताया है। उन्होंने कहा कि इस अवसर पर लोगों में इमाम हुसैन (अ) के प्रति प्रेम का जुनून इस हद तक बढ़ जाता है कि वे दूसरों के लिए अपना धन, समय और भोजन त्याग देते हैं।

हौज़ा न्यूज़ एजेंसी की एक रिपोर्ट के अनुसार, हौज़ा ए इल्मिया आयतुल्लाह यस्रबी के शिक्षक, हुज्जतुल-इस्लाम वल-मुस्लेमीन हबीब यूसुफी ने अरबईन को त्याग, करुणा और स्वार्थ के त्याग का एक व्यावहारिक उदाहरण बताया है। उन्होंने कहा कि इस अवसर पर लोगों में इमाम हुसैन (अ) के प्रति प्रेम का जुनून इस हद तक बढ़ जाता है कि वे दूसरों के लिए अपना धन, समय और भोजन त्याग देते हैं।

उन्होंने "हौज़ा न्यूज़ एजेंसी" को दिए एक साक्षात्कार में कहा कि अरबईन केवल एक धार्मिक अनुष्ठान नहीं है, बल्कि एक वैश्विक समागम है जो इस्लामी नैतिकता, मानवता और तार्किकता को दर्शाता है। यह एक ऐसा मंच है जहाँ विभिन्न धर्मों, राष्ट्रों और सभ्यताओं के लोग भक्ति और प्रेम के बंधन में बंध कर एक आध्यात्मिक समाज का निर्माण करते हैं।

हुज्जतुल इस्लाम यूसुफ़ी ने आगे कहा कि इस भव्य समागम की सबसे बड़ी विशेषता इसका सार्वजनिक स्वरूप है। इसके प्रबंधन या व्यय में कोई सरकार केंद्रीय भूमिका नहीं निभाती, बल्कि सब कुछ जनता के हाथों से ही होता है, जो राष्ट्रों की सच्ची शक्ति और चेतना का प्रमाण है।

उन्होंने स्पष्ट किया कि इमाम हुसैन (अ) सभी ईश्वरीय पैगम्बरों के उत्तराधिकारी हैं और अरबईन का यह संदेश दुनिया भर के लोगों को उत्पीड़न के विरुद्ध खड़े होने, स्वतंत्रता और मानवीय गरिमा की चेतना प्रदान करता है।

उन्होंने आशा व्यक्त की कि यह संस्कृति पूरे विश्व में फैलेगी और दमनकारी व्यवस्थाओं के पतन और युग के इमाम (अ) की वैश्विक सरकार का आधार बनेगी।

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