हौज़ा न्यूज़ एजेंसी के अनुसार ,इस रिवायत को "मीज़ानुल हिक्मा" पुस्तक से लिया गया है। इस कथन का पाठ इस प्रकार है:
:قال امیرالمومنین علیه السلام
نُصْحُكَ بَيْنَ الْمَـلاَءِ تَقْريعٌـلاَءِ تَقْريعٌ تَقْريعٌـلاَءِ تَقْريعٌـلاَءِ تَقْريعٌ
हज़रत इमाम अली अलैहिस्सलाम ने फरमाया:
लोगों के सामने तुम्हारा दूसरों को नसीहत करना उसकी शख्सियत का कत्ल करने के बराबर हैं।
मीज़ानुल हिक्मा,भाग 10, पेंज 580