हौज़ा न्यूज़ एजेंसी के अनुसार , इस रिवायत को "मीज़ानुल हिक्मा " पुस्तक से लिया गया है। इस कथन का पाठ इस प्रकार है:
:قال الامام العلی علیہ السلام
مواساةُ الأخِ في اللّهِ عزّ و جلّ تَزِيدُ في الرِّزقِ
हज़रत इमाम अली अलैहिस्सलाम ने फरमाया:
खुदा की राह में दीनी भाई की माली सहायता करना इंसान के रिज़्क और रोज़ी में इजाफ़े का सबब बनता है।
मीज़ानुल हिक्मा ,भाग 4,पेंज 443
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