हौज़ा न्यूज़ एजेंसी के अनुसार ,हज़रत पैगंबर मुहम्मद साहब का जन्मदिवस और ईद मिलादुन्नबी के रूप में मनाया जाता है इसी दिन सूफी संत अलाउद्दीन अली अहमद साबिर की यौमे विलादत यानि जन्मदिवस को अकीदतमंद सालाना उर्स के रूप में मनाते हैं।
आसपास के देहात इलाकों में लंगर फ़ातिहा के बाद हजारों की तादाद में ज़ायरीन पैदल जत्थों के रूप में साबिर साह की दरगाह पर चादरपोशी करने जाते हैं।
ईद मिलादुन्नबी पर ज्वालापुर समेत आसपास के देहात से ज़ायरीनों के पैदल जत्थे पिरान कलियर रवाना हुए। पथरी क्षेत्र से निकल गई तिरंगा चादर ने सभी का ध्यान अपनी तरफ खींचा और देशभक्ति का पैगाम दिया इस मौके पर पैगंबर मुहम्मद साहब की तालीम पर अमल करते हुए ज्यादा से ज्यादा तालीम हासिल करने का संकल्प भी मुस्लिम समाज ने लिया हैं।