हौज़ा न्यूज़ एजेंसी की एक रिपोर्ट के अनुसार, इस्लामी क्रांति के नेता आयतुल्लाहिल उज़्मा सय्यद अली ख़ामेनेई ने रोज़े के दौरान जीभ के नीचे गोली रखने के कारण रोज़ा रखने के हुक्म से संबंधित सवाल का जवाब दिया, जिसे पाठकों के लिए प्रस्तुत किया जा रहा है:
प्रश्न: क्या रक्तचाप के रोगी का रोज़ा तब बातिल हो जाता है यदि वह रोज़े के दौरान अपनी जीभ के नीचे गोली रख ले, क्योंकि यह गोली गले से नीचे कुछ नहीं जाती है तथा केवल जीभ के नीचे ही अवशोषित होती है?
जवाब: अगर गोली में मिला हुआ लार बाहर निकाल दी जाए और गले में कुछ न जाए तो रोज़ा बातिल नहीं है।
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