۱ آذر ۱۴۰۳ |۱۹ جمادی‌الاول ۱۴۴۶ | Nov 21, 2024
انقلاب ایران

हौज़ा/सुप्रीम लीडर,एक ऐसी क़ौम के लिए, जो अपने प्यारों की जान की बाज़ी लगाकर उठ खड़ी हुई थी और उसके आगे एक महान धर्मगुरू व पैग़म्बरों का जानशीन था, पश्चिमी सिस्टम आइडियल नहीं हो सकता था। तो हमने आइडियल न तो पूर्वी हुकूमतों से लिया और न ही पश्चिमी हुकूमतों से,

हौज़ा न्यूज़ एजेंसी के अनुसार ,सुप्रीम लीडर आयतुल्लाहिल उज़मा सैय्यद अली खामेनेई ने कहां,एक ऐसी क़ौम के लिए, जो अपने प्यारों की जान की बाज़ी लगाकर उठ खड़ी हुई थी और उसके आगे एक महान धर्मगुरू व पैग़म्बरों का जानशीन था

 पश्चिमी सिस्टम आइडियल नहीं हो सकता था। तो हमने आइडियल न तो पूर्वी हुकूमतों से लिया और न ही पश्चिमी हुकूमतों से, बल्कि हमने इस्लाम से आइडियल लिया और हमारे अवाम ने इस्लाम की पहचान की बुनियाद पर, इस्लामी सिस्टम को अख़्तियार किया। हमारे अवाम ने इस्लामी किताबें पढ़ रखी थीं,

वह हदीसों व रिवायतों को जानते, क़ुरआन समझते थे, उन्होंने मजलिसों में हिस्सा लिया था, पिछली हुकूमतों में वे जितना भी देखते थे, इस तरह के मूल्यों का दूर दूर तक पता नहीं था। इंक़ेलाब, इन मूल्यों के लिए था। अगर हम इन मूल्यों को एक लफ़्ज़ में बयान करना चाहें तो मैं कहूंगा, इस्लाम। हमारी क़ौम को उन मूल्यों की तलाश थी जो सबके सब इस्लाम में हैं।

इमाम ख़ामेनेई,

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