मंगलवार 13 अगस्त 2024 - 15:50
कुरआन करीम के बारे में इमाम हसन अ.स. की नसीहत

हौज़ा / हज़रत इमाम हसन अलैहिस्सलाम ने एक रिवायत में कुरआन मजीद के मुतालिक नसीहत फरमाई हैं।

हौज़ा न्यूज़ एजेंसी के अनुसार , इस रिवायत को "इरशाद अलक़ुलूब" पुस्तक से लिया गया है। इस कथन का पाठ इस प्रकार है:

:قال الامام الحسن المجتبی علیه السلام

ما بَقِىَ فِى الدُّنْيا بَقِيَّةٌ غَيْرَ هَذَا القُرآنِ فَاتَّخـِذُوهُ إماما يَدُلُّكُمْ عـَلى هُداكُمْ، وَإنَّ أَحَقَ النّاسِ بِالقُرآنِ مَنْ عَمِلَ بِهِ وَإنْ لَمْ يَحْفَظْهُ وَأَبْعَدَهُمْ مِنْهُ مَنْ لَمْ يَعْمَلْ بِهِ وَإنْ كانَ يَقْرَأُهُ

हज़रत इमाम हसन अलैहिस्सलाम ने फरमाया:
इस फनी दुनिया में जो चीज़ बाकी रहेगी वह कुरान मजीद है,बस कुरान मजीद को अपना रहनुमा और इमाम करार दो ताकि सीधे और मुस्तकीम रास्ते पर चलो।
बेशक,कुरआन मजीद के नज़दीक तरीन वह  लोग है जो इस पर अमल करते हो, अगर चे ज़ाहेरन इन्हें कुरआन मजीद की आयात हिफ्ज़ न हो, और कुरान मजीद से दूर तर वह लोग हैं जो इसके फरमान पर अमल न करते हो,अगर चे वह कुरआन करीम के क़ारी और उसकी तिलावत करने वाले ही क्यों ना हो।

इरशाद अलक़ुलूब,पेज 102

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