۴ آذر ۱۴۰۳ |۲۲ جمادی‌الاول ۱۴۴۶ | Nov 24, 2024
India

हौज़ा / सुप्रीम कोर्ट ने उत्तर प्रदेश मदरसा शिक्षा अधिनियम 2004 को संवैधानिक ठहराते हुए धार्मिक शिक्षा के अधिकार को मजबूत किया, अदालत ने अपने इस फैसले में कहा कि भारत जैसे बहुसांस्कृतिक देश में विभिन्न धार्मिक संस्थानों के शैक्षिक अधिकारों की सुरक्षा करना आवश्यक है।

हौज़ा न्यूज़ एजेंसी के अनुसार ,5 नवंबर 2024 को सुप्रीम कोर्ट ने उत्तर प्रदेश मदरसा शिक्षा अधिनियम 2004 को संवैधानिक ठहराते हुए धार्मिक शिक्षा के अधिकार को मजबूत किया।

अदालत ने अपने इस फैसले में कहा कि भारत जैसे बहुसांस्कृतिक देश में विभिन्न धार्मिक संस्थानों के शैक्षिक अधिकारों की सुरक्षा करना आवश्यक है।

मदरसा पक्ष की ओर से हाईकोर्ट और सुप्रीम कोर्ट में पैरवी करने वाले एडवोकेट जाफर रज़ा जैदी ने इस फैसले का स्वागत किया और इसे भारतीय न्याय प्रणाली में धार्मिक स्वतंत्रता की रक्षा के लिए एक महत्वपूर्ण उपलब्धि बताया।

उन्होंने कहा कि सुप्रीम कोर्ट ने इस निर्णय से मदरसों की भारतीय शिक्षा व्यवस्था में अहम भूमिका को स्वीकार किया और उनकी सांस्कृतिक धरोहर को सुरक्षित किया।

सुप्रीम कोर्ट का ऐतिहासिक फैसला/मदरसा एक्ट की संवैधानिकता पर मुहर एडवोकेट जाफर रज़ा जैदी ने किया स्वागत

जैदी के अनुसार यह फैसला मदरसों को अपनी विशिष्ट पहचान के साथ शैक्षिक क्षेत्र में योगदान देने की स्वीकृति प्रदान करता है।

इस ऐतिहासिक फैसले के बाद, मदरसों को एक नई पहचान और समर्थन मिला है, जो उनके संवैधानिक अधिकारों को मजबूती से स्थापित करता है और उनके भविष्य को सुरक्षित करता है।

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