हौज़ा न्यूज़ एजेंसी की रिपोर्ट के अनुसार, धार्मिक नगर क़ुम अल मुक़द्देसा के इमाम जुमा आयतुल्लाह अली रज़ा आराफ़ी ने आज़ 20 जून 2025 को मुसल्ला ए क़ुद्स मे आयोजित नमाज़े जुमा के खुत्बो मे इस्लामी क्रांति को पश्चिम और ज़ुलमत के अंधकारो मे नूरानी फ़रयाद क़रार देते हुए कहा, ईरानी राष्ट्र ने ऐसा अहंकारी और अत्याचारी प्रणाली के खिलाफ़ क़याम किया जो अत्याचार और अन्याय से और अहंकार से दूसरो को गिरा हुआ समझते और गुमान करते कि उनका मुकाबला कोई नही कर सकता और वह जैसे चाहे अपने तलवे चाटने पर विवश कर सकते है।
उन्होने आगे कहा, इस्लामी क्रांति ने दुनिया के हिसाब व किताब को परिवर्तित करके रख दिया जिसने अत्याचारीयो के खिलाफ़ आवाज़ उठाई और क़याम के शुरू से लेकर अब तक सभी मज़लूमो और मुस्तज़एफ़ीनो के लिए शरण स्थल रहा है।
आयतुल्लाह आराफ़ी ने कहा, इज़रायल पश्चिम की छावनी है और यह चीज़ 50 वर्ष पहले से बता दी गई थी। इज़रायल कोई सरकार या देश नही बल्कि एक छावनी है ताकि वह इस्लामी दुनिया को सीरिया की भांति अपने वर्चस्व मे ले सके और इस्लमी जगत पर हकूमत कर सकें।
उन्होने आगे कहा, इज़रायल पूरे इस्लामी जगत के लिए खतरा है। सभी इस्लामी देश जान ले कि इस्राईल उन सब के लिए, बल्कि मानवता और आज़ादी के लिए भी खतरा और नासूर है।
क़ुम अल मुक़द्देसा के इमाम जुमा ने कहा, पाखंडीयो और दुशमनो को जान लेना चाहिए कि उन्होने शहद के छत्ते मे हाथ डाल दिया है और बहुत ग़लत आकलन किए है जिसके परिणाम स्वरूप उन्होने ईरान पर हमला करने का दुसाहस किया। कुछ सादा लोग यह समझते है कि वह सुलह करा लेंगे लेकिन याद रहे कि उनके विचार गलत है।
हौज़ा ए इल्मिया के प्रमुख ने कहा, इमाम खुमैनी (र) ने आज से 62 वर्ष पहले मदरसा ए फ़ैज़िया मे फरमाया था कि अमेरकी राष्ट्रपति को पता होना चाहिए कि वह ईरानीयो के नजदीक सबसे घृणित व्यक्ति है। आज का अमेरिकी राष्ट्रपति ट्रम्प मूर्क को भी पता होना चाहिए कि वह इस्लामी जगत के नजदीक सबसे घृणित व्यक्ति है।
उन्होने आगे कहा, ट्रम्प का इतना साहस कि वह इस्लामी जगत के बुजुर्ग, सम्मानित और बा करामत व्यक्ति को धमकी देता है। तुम्हारी इस दुसाहस पर सारी दुनिया निंदा की है। सुप्रीम लीडर हमारी इज़्ज़त और पाएदारी की निशानी है। तमाम ईरानी राष्ट्र उनकी अनुयायी और समर्थक है।
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