गुरुवार 19 जून 2025 - 07:12
फ़िरऔन ए वक़्त का सुप्रीम लीडर से संबंधित बयान अंतर्राष्ट्रीय शांति के लिए खुला खतरा

हौज़ा / हुज्जतुल इस्लाम वल मुस्लेमीन आग़ा सय्यद हसन अल मूसवी अल सफ़वी ने कहा कि आयतुल्लाह सय्यद अली ख़ामेनेई केवल ईरान के सुप्रीम लीडर नही , बल्कि वह दुनिया भर के 24 करोड़ से अधिक शिया मुस्लमानो के रूहानी पेशवा और मरजा ए तक़लीद है। उनकी ज़ात अक़दस के ख़िलाफ़ किसी भी प्रकार की धमकी इस्लामी जगत विशेषकर शिया उम्मत के जज़्बात पर सीधा हमला माना जाएगा।

हौज़ा न्यूज़ एजेंसी के अनुसार, अमेरिकी राष्ट्रपित की ओर से ईरान के सुप्रीम लीडर आयतुल्लाहिल उज़्मा सय्याद अली ख़ामेनेई से संबंधित मूर्खता पूर्ण बयान पर अंजुमने शरई शियान जम्मू कश्मीर के अध्यक्ष हुज्जतुल इस्लाम वल मुस्लेमीन आगा सय्यद हसन मूसवी ने कड़े शब्दो मे निंदा करते हुए कहा कि चौदह सौ साल पहले यज़ीद ने इमाम हुसैन (अ) से बैअत मांगी थी, लेकिन इमाम हुसैन (अ) ने ज़ालिम और अत्याचारी हाकिम के आगे सर झुकाने से इंकार करके हक़ व बातिल के बीच एक लाज़वाल लकीर खीच दी। आज इतिहास अपने आप को दोहरा रहा है, अंतर केवल इतना है कि उस समय का यज़ीद, यज़ीद बिन मुआविया था और आज का यज़ीद अमेरिका व इज़रायाल है, जो इस्लामी गणराज्य ईरान के सुप्रीम लीडर आयतुल्लाहिल उज़्मा सय्यद अली ख़ामेनेई (दामा ज़िल्लोह आली) से बैअत और सर तसलीम ख़म करने की मांग कर रहा है। लेकिन जिस प्रकार इमाम हुसैन (अ) ने इनकार किया था उसी प्रकार आज इमाम ख़ामेनेई (दामा जिल्लोह आली) भी बातिल के सामने झुकने को तय्यार नही है।

उन्होने कहा कि आज पूरी दुनिया ने किसी न किसी शकल मे अमेरिका के सामने सर झुका लिया है, मगर अकेला देश जो दृढ़ता की निशानी बन कर उभरा है वह इस्लामी गणराज्य ईरान है और उसका नेतृत्व इमाम ख़ामेनेई कर रहे है।

आग़ा सय्यद हसन मूसवी ने कहा कि हम अमेरिकी राष्ट्रपति और इज़रायली नेतृत्व की ओर से इस्लामी गणराज़्य ईरान के सुप्रीम लीडर आयतुल्लाहिल उज़्मा सय्यद अली ख़ामेनेई  के खिलाफ़ हत्या की धमकी की कड़े शब्दो मे निंदा करते है और उस पर कड़ी प्रतिक्रिया व्यक्त करते है। यह बयान न केवल राजनितिक ग़ैरजिम्मेदारी की इंतेहा है बल्कि अंतर्राष्ट्रीय शांति के लिए खुला खतरा है।

उन्होने ज़ोर देते हुए कहा कि हमे स्पष्ठ रूप से कहना है कि आयतुल्लाह ख़ामेनेई केवल ईरान के सुप्रीम लीडर नही , बल्कि वह दुनिया भर के 24 करोड़ से अधिक शिया मुस्लमानो के रूहानी पेशवा और मरजा ए तक़लीद है। उनकी ज़ात अक़दस के ख़िलाफ़ किसी भी प्रकार की धमकी इस्लामी जगत विशेषकर शिया उम्मत के जज़्बात पर सीधा हमला माना जाएगा।

अंजुमने शरई शियान जम्मू कश्मीर के अध्यक्ष ने कहा कि अमेरिका और इज़रायल को यह बात समझ लेनी चाहिए कि ऐसी खतरनाक भाषा और हत्या का इरादा दुनिया को अधिक तबाही और अशांति की ओर ले जाएगा। यह अमल अंतर्राष्ट्रीय क़ानून का खुला उलंघ्घन है बल्कि मानवता, शराफ़त और धार्मिक सम्मान के भी खिलाफ़ है।

उन्होने कहा कि हम दुनिया के सभी मानव अधिकार संगठनो, ओ आई सी , इस्लामी देशो के नेता (शिया सुन्नी) और दुनिया भर के शांति पसंद जनता से अपील करते है कि वह इस घटिया और निंदनीय बयान के खिलाफ़ अपनी आवाज़ उठाए। राजनीतिक मतभेद अपनी जगह, मगर रूहानी और धार्मिक शख्सियत को निशाना बनाना वैश्विक शांति के लिए असहनीय कार्रवाई है।

आगे कहा कि हम सुप्रीम लीडर आयतुल्लाहिल उज़्मा सय्यद अली ख़ामेनेई (दामा जिल्लोह आली) के स्वास्थ और सलामती और रक्षा के लिए दुआ कर रहे है। और हम ईरान के नेतृत्व, खुद मुखतारी, और जनता के साथ इस नाज़ुक मरहले पर पूर्ण एकजुटता की घोषणा करते है। 

अंत मे उन्होने कहा दुनिया के सभी मोमेनीन और मुसलमानो से अपील करता हूं कि वह अपने सामूहिक बैठको, मजलिसो, जुमा और जमाअत के खुत्बो और इंफ़ेरादी इबादात मे सुप्रीम लीडर के लिए और इस्लामी गणराज्य ईरान की रक्षा और सलामती एवं सफलता के लिए विशेष दुआ का आयोजन करें। इंशाल्लाह हक की आवाज़, ज़ालिमो, अत्याचारीयो, ग़ासिब कुव्वतो के मुकाबले मे कामयाब और सरफ़राज़ी से हमकिनार होगी। 

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