۴ آذر ۱۴۰۳ |۲۲ جمادی‌الاول ۱۴۴۶ | Nov 24, 2024
परिवार

हौज़ा/इस्लामी क्रांति के सुप्रीम लीडर आयतुल्लाहिल उज़मा सैय्यद अली ख़ामेनेई ने कहां, परिवार में महिलाओं की भूमिका बहुत अहम है उनकी भूमिका की कद्र करनी चाहिए वह महिलाएं जो अपना तमाम कार्य छोड़ कर अपने घर की परवरिश में लग जाती हैं उनकी जिंदगी परिवार वालों पर कुर्बान हो जाती हैं।

हौज़ा न्यूज़ एजेंसी के अनुसार ,इस्लामी क्रांति के सुप्रीम लीडर आयतुल्लाहिल उज़मा सैय्यद अली ख़ामेनेई ने कहां,ख़ानदान और परिवार की बहस में बार बार महिला की भूमिका का ज़िक्र आता है। इसकी वजह भी ज़ाहिर है। घर के अंदर औरत की पोज़ीशन केन्द्रीय हैसियत रखती है। समाज को उसकी अहमियत का एहसास होना चाहिए।

घरेलू महिलाओं के कामों की अहमियत का जायज़ा लिया जाना चाहिए। कुछ महिलाएं हैं जो बाहर जाकर नौकरी वग़ैरा कर सकती थीं। कुछ उच्च शिक्षा के लिए जा सकती थीं। कुछ के पास तो उच्च शिक्षा भी थी लेकिन उन्होंने कहा कि हमें बच्चों की परवरिश करनी है, तरबियत करनी है

इसलिए हम काम के लिए नहीं निकले। इस तरह की महिलाओं की क़द्र की जानी चाहिए। यहां सज्जनों ने यह भी कहा कि इन महिलाओं का बीमा होना चाहिए। बेशक होना चाहिए। उनकी माली ज़रूरतें पूरी की जानी चाहिए, उनका बीमा और दूसरी ज़रूरतें पूरी होनी चाहिए।

इमाम ख़ामेनेई,4 जनवरी 2012

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