۱۳ تیر ۱۴۰۳ |۲۶ ذیحجهٔ ۱۴۴۵ | Jul 3, 2024
سید صدر الدین قبانچی

हौज़ा / हुज्जतुल-इस्लाम वल-मुसलेमीन सैयद सदरुद्दीन क़बांची ने कहा: ज़ियारत अरबईन दीन की हाकेमीयत, माद्दी और इल्हादी सोच की हार का नाम है।

हौज़ा न्यूज़ एजेंसी की रिपोर्ट के अनुसार, नजफ अशरफ के इमाम जुमा हुज्जतुल-इस्लाम वल मुस्लेमीन सैयद सदरुद्दीन कबानची ने जुमा के खुत्बे के दौरान कहा: आज क्षेत्र में ऐसे बदलाव देखने को मिल रहे हैं जिन्होने इजराइल को भयभीत कर रखा है।

इस बात की ओर इशारा करते हुए कि ज़ियारते अरबईन  दीन की हाकेमीयत, माद्दी और इल्हादी सोच की हार का नाम है, उन्होंने कहा: अल्लाह ने चाहा, तो इमाम हुसैन (अ) की आवाज़ पूरी दुनिया तक पहुंचेगी।

उन्होंने आगे कहा: इराकी लोग इस समय अरबाईन की तैयारी में व्यस्त हैं, और यहां हमें इमाम मुहम्मद बाकिर (अ) का वह फरमान याद आता है, जिसमे मौला फरमाते हैं: हमारे शियो से कहो कि इमाम हुसैन (अ) की क़ब्र की ज़ियारत करें क्योकि इस ज़ियारत से जीविका और आयु मे बढ़होतरी है। और यह ज़ियारत विपत्तियो को दूर करती है और इस इमाम की ज़ियारत हर उस व्यक्ति के लिए ज़रूरी है जो हमारी इमामत को अल्लाह की ओर से स्वीकार करता है।

हुज्जतुल-इस्लाम वल-मुसलेमीन कबान्ची ने अरबईन के ज़ाएरीन के स्वागत के लिए इराकी लोगों की तैयारी और सेवाओं की सराहना की और इराकी सरकार की ओर से जाएरीन का स्वागत करने के लिए सभी संस्थानों को धन्यवाद दिया।

टैग्स

कमेंट

You are replying to: .