۹ آبان ۱۴۰۳ |۲۶ ربیع‌الثانی ۱۴۴۶ | Oct 30, 2024
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हौज़ा / हिज़्बुल्लाह लेबनान के महासचिव सैयद मक़ावेमत शहीद सैयद हसन नसरल्लाह की शहादत के बाद संगठन के नए महासचिव को लेकर कई अटकलें चल रही थीं। लेकिन आज हिज़्बुल्लाह ने नए महासचिव का चयन कर लिया है।

हौज़ा न्यूज़ एजेंसी के अनुसार ,एक रिपोर्ट के अनुसार ,हिज़्बुल्लाह लेबनान की ओर से जारी बयान में कहा गया है कि शेख नईम कासिम को हिज़्बुल्लाह लेबनान का नया सचिव जनरल चुन लिया गया है।

अलजज़ीरा और अलमयादीन के अनुसार,हिज़्बुल्लाह लेबनान की केंद्रीय परिषद ने शेख नईम कासिम को संगठन के सचिव जनरल शहीद सैयद हसन नसरुल्लाह के उत्तराधिकारी के रूप में चुना है।

शेख नईम कासिम कौन हैं?

शेख नईम कासिम का जन्म 1953 में लेबनान के क्षेत्र कफरफीला के एक धार्मिक परिवार में हुआ। उन्होंने धार्मिक शिक्षा मशहूर शिया आलिम ए दीन आयतुल्लाह अलउज़मा मुहम्मद हुसैन फ़ज़्लुल्ला से प्राप्त की और लेबनान की यूनिवर्सिटी से केमिस्ट्री में बैचलर डिग्री हासिल की।

हिज़्बुल्लाह लेबनान के नए जनरल सचिव मुस्लिम छात्र संघ के संस्थापकों में से एक हैं, जिसे 1970 के दशक में स्थापित किया गया था। वह उस समय संगठन में शामिल हुए जब संगठन के प्रमुख इमाम मूसा सदर थे।

शेख नईम कासिम 1974 से 1988 तक लेबनान की इस्लामिक धार्मिक शैक्षिक संघ के अध्यक्ष रहे। उन्होंने लेबनान में अलमुस्तफा स्कूलों के सलाहकार के रूप में भी सेवाएँ दीं। बाद में शेख कासिम ने हिज़्बुल्लाह की बुनियादी गतिविधियों में भाग लिया और 1992 में हिज़्बुल्लाह के डिप्टी सचिव जनरल नियुक्त हुए।

ध्यान रहे कि शेख नईम कासिम पहले ही इजराइल की टारगेट लिस्ट में शामिल हैं जिससे हिज़्बुल्लाह लेबनान के नए सचिव जनरल की शख्सियत का पता चलता है।

शेख नईम कासिम की किताब (हिज़्बुल्लाह) भी महत्वपूर्ण है।

शेख नईम कासिम की किताब "हिज़्बुल्लाह" के कई भाषाओं में अनुवाद हो चुके हैं और इस किताब का अध्ययन बताता है कि शेख नईम कासिम इजराइल के खिलाफ अधिक सख्त नीति अपनाने के हिमायती हैं।
पाकिस्तान के प्रसिद्ध पत्रकार हामिद मीर ने कहा कि उन्होंने यह किताब 2006 में बेरुत में पढ़ी थी और वहां उन्हें पता चला था कि सैयद हसन नसरुल्ला ने इजराइल के खिलाफ प्रतिरोध को एक रेडलाइन तक सीमित रखा है ताकि इजराइल लेबनान पर इतनी बमबारी न करे कि लेबनान का पूरा इंफ्रास्ट्रक्चर नष्ट हो जाए।

शेख नईम कासिम इजराइल के खिलाफ उसी तरह के हमलों के हिमायती रहे हैं, जैसा हमला अक्टूबर 2023 में हमास ने किया था।

शेख नईम कासिम ने अपनी किताब में यह भी लिखा है कि दुश्मन की मजबूत सेना और एयरपावर का एकमात्र हल फिदाई हमले हैं। अगर नईम कासिम ने हिज़्बुल्लाह को उसी रास्ते पर डाल दिया जिसे उन्होंने कई साल पहले अपनी किताब में इंगित किया था, तो मध्य पूर्व का युद्ध अन्य क्षेत्रों में भी फैल सकता है। नेतन्याहू के पास एयरपावर और अमेरिकी ड्रोन हैं लेकिन शेख नईम कासिम के पास हजारों फिदाई हमलावर हैं।

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