हौज़ा न्यूज़ एजेंसी के अनुसार, निम्नलिखित परंपरा "सवाब अल-आमाल" पुस्तक से ली गई है। इस रिवायत का पाठ इस प्रकार है:
قال الامام الصادق علیه السلام:
مَنْ قَضى حاجَةَ الْمُؤْمِنِ مِنْ غَيْرِ اسْتِخْفافٍ مِنْهُ اُسْكِنَ الْفِرْدَوْسَ
हज़रत इमाम जाफ़र सादिक़ (अ) ने फ़रमाया:
जो व्यक्ति किसी मोमिन का अपमान किए बिना उसकी आवश्यकता पूरी कर दे, अल्लाह तआला उसे जन्नत में स्थान प्रदान करेगा।
सवाब अल आमाल व ऐक़ाब अल आमाल : अध्याय 752, हदीस 22
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