हौज़ा न्यूज़ एजेंसी
नेमते ख़त्म होने का कारण
إنَّ اللهَ قَضَى قَضاءً حَتْماً أَلاّ یُنْعِمَ عَلَى الْعَبْدِ بِنِعْمَة فَیَسْلُبُها إیّاهُ حَتّى یُحْدِثَ الْعَبْدُ ذَنْباً یَسْتحِقُّ بِذلِک النَّقِمَةِ۔ इन्नल्लाहा क़ज़ा हत्मन अल्ला युन्ऐमा अलल अब्दे बेनेमते फ़यसलोबोहा इय्याहो हत्ता योहदेसल अब्दो ज़म्बन यस्तहिक़्क़ो बेज़ालेकन नकेमते
इमाम बाक़िर (अ) फ़रमाते है:
यह अल्लाह का अटल निर्णय है कि वह अपने बंदों को दी गई नेमतों को कभी नहीं छीनेगा जब तक कि वे ऐसा पाप न करें जिसके कारण नेमतें छीन ली जाएं।
संक्षिप्त विवरण
1- ख़ुदा बंदों से यूँ ही नेमत नहीं छीनता।
2- मनुष्य उन नेमतो के लिए ज़िम्मेदार है जो उनसे छीन ली गई हैं।
3- कुछ पाप ऐसे होते हैं जो कुफराने नेमत की ओर ले जाते हैं।
4- यदि कोई व्यक्ति भगवान का आज्ञाकारी रहता है और कोई पाप नहीं करता है, तो सभी नेमते बनी रहती हैं।
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उसुल काफ़ी, भाग 2, पेज 273