हौज़ा न्यूज़ एजेंसी के अनुसार ,हज़रत आयतुल्लाहिल उज़्मा सैयद अली ख़ामेनेई से पूछे गए सवाल का जवाब दिया हैं जो शरई मसाईल में दिलचस्पी रखते हैं उनके लिए यह बयान किया जा रहा हैं।
सवाल : क्या एक लड़की किसी नौजवान लड़के को तालीम (शिक्षा) और पढ़ाई में इस्लामी अहकाम की रिआयत करते हुए मदद कर सकती हैं?
जवाब: आपके सवाल में जो ज़िक्र किया गया है,इशकाल नहीं है, लेकिन शैतान के फरेब और धोखे से परहेज़ करना चाहिए,और अहकामे शरई
को मद्दे नज़र रखते हुए यह राब्ता खलवात और तन्हाई में अंजाम नहीं होना चाहिए।