हौज़ा न्यूज़ एजेंसी के अनुसार , कर्बला में आपकी महान कुर्बानी,आपका पूरा नाम सवार इब्ने मनगम जबिस इब्ने अबी अमीर इब्ने नैह्मल हमदानी है आप हमदान के रहने वाले थे।
आशूर के पहले दूसरी और दसवी के अन्दर किसी तारिख को कर्बला पहुचे थे आपके नाम के साथ लफ्ज़ “नेहमी”अपने दादा की तरफ इंतेसाब की वजह से लगा हुआ है बाज़ उलमा ने नेहमी को फहमी तहरीर फरमाया है लेकिन ये मेरे नज़दीक गलत है आप ने यौमे आशूर के पहले हमले में जामे शाहदत नौश फ़रमाया है।
आप के बारे में बाज़ किताबो में है की आप हमला-ऐ-अववल में ज़ख़्मी होकर गिरे तो सवार की कौम के लोगो ने उन्हें उठा लिया और इब्ने साद से इजाज़त के बाद छ: माह अपने पास रखा बिल आखिर आप ने शहादत पाई।