गुरुवार 11 अगस्त 2022 - 22:40
ज़ैनबी किरदार वाली माताएँ और बहने ही आज के यज़ीद से लड़ सकती हैंः सायरा इब्राहीम

हौज़ा / इमाम हुसैन (अ.स.) की शहादत का उद्देश्य अम्र बिल मारूफ और नही अज़ मुनकर करना था और इस सुन्नत को समाज में अभ्यास करने की आवश्यकता है। अम्र बिल मारूफ़ और नही अज़ मुनकर हर आदमी और आस्तिक की जिम्मेदारी है दुर्भाग्य से, इस दायित्व को त्याग दिया है।

हौज़ा न्यूज़ एजेंसी की रिपोर्ट के अनुसार, गिलगित / मजलिस वहदत अल-मुस्लिमीन पाकिस्तान महिला विभाग की नेता सुश्री सायरा इब्राहिम ने महिलाओं को प्रोत्साहित किया और कहा कि आज के यज़ीद से सिर्फ ज़ैनबी किरदार वाली माताएँ और बहनें ही लड़ सकती हैं।

उन्होंने कहा कि इमाम हुसैन (अ.स.) की शहादत का मकसद अम्र बिल मारूफ और नही अज़ मुनकर करना था और इस सुन्नत को समाज में अभ्यास करने की आवश्यकता है। अम्र बिल मारूफ़ और नही अज़ मुनकर हर आदमी और आस्तिक की जिम्मेदारी है दुर्भाग्य से लोगों ने इस दायित्व को त्याग दिया है।

उन्होंने राज्य के संस्थानों को अनावश्यक गिरफ्तारियों की श्रृंखला को रोका जाए और असली हाथ को पकड़ा जाए।

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