۱۳ تیر ۱۴۰۳ |۲۶ ذیحجهٔ ۱۴۴۵ | Jul 3, 2024
दिन की हदीस

हौज़ा/ हज़रत इमाम जाफर सादिक अलैहिस्सलाम ने एक रिवायत में उधार देना अच्छी बात है, मगर उससे अच्छी बात है कि किसी को माल बख्श देने की ओर इशारा किया हैं।

हौज़ा न्यूज़ एजेंसी के अनुसार , इस रिवायत को "बिहारूल अनवार" पुस्तक से लिया गया है। इस कथन का पाठ इस प्रकार हैं।

:قال الصادق علیه السلام

لَإنْ اُقْرِضَ قَرْضا اَحَبُّ اِلَىَّ مِنْ اَنْ اَصِلَ بِمِثْلِهِ.


हजरत इमाम जाफर सादिक़ अलैहिस्सलाम ने फरमाया:
मुझे बगैर उधार के माल को दे देने से इसे कर्ज़ के तौर पर देना ज़्यादा पसंद है।
बिहारूल अनवार भाग 103,पेंज 139

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