۴ آذر ۱۴۰۳ |۲۲ جمادی‌الاول ۱۴۴۶ | Nov 24, 2024
रहबर

हौज़ा/तेहरान के दौरे पर आए वेनेज़ोएला के राष्ट्रपति निकोलस मादुरो ने इस्लामी इंक़ेलाब के नेता आयतुल्लाहिल उज़मा ख़ामेनेई से मुलाक़ात की।

हौज़ा न्यूज़ एजेंसी के अनुसार ,हज़रत आयतुल्लाहिल उज़्मा सैय्यद अली ख़ामनेई ने कहां,कि अमरीका की ओर से जारी बहुआयामी जंग और भारी दबाव के ख़िलाफ़ ईरान और वेनेज़ोएला के कामयाब प्रतिरोध का ज़िक्र करते हुए कहा कि दोनों मुल्कों के सफल तजुर्बे से साबित हो गया कि इन दबावों से निपटने का एक ही रास्ता प्रतिरोध और दृढ़ता है।


उन्होंने वेनेज़ोएला के ख़िलाफ़ अमरीका की ओर से थोपी गयी बहुआयामी जंग में वेनेज़ोएला की सरकार और जनता की कामयाबी की ओर इशारा करते हुए, निकोलस मादुरो से कहाः आप और वेनेज़ोएला की जनता का प्रतिरोध बहुत मूल्यवान है, क्योंकि इससे एक राष्ट्र, मुल्क और उसके नेताओं का महत्व और क़द बढ़ता है, आज वेनेज़ोएला के संबंध में अमरीका का रुख़ बदल गया है।


आयतुल्लाहिल उज़मा ख़ामेनेई ने इसी तरह हालिया बरसों में इस्लामी गणराज्य ईरान की साइंस व टेक्नॉलोजी के क्षेत्र में तरक़्क़ी व आविष्कारों का ज़िक्र करते हुए कहाः यह बड़े क़दम ऐसे हालात में उठाए गए जब ईरानी राष्ट्र पर सबसे सख़्त व अभूतपूर्व पाबंदियां लगी हुई थीं जिसे ख़ुद अमरीकियों ने ‘अत्यधिक दबाव’ कहा।


उन्होंने बल दिया कि ईरानी राष्ट्र के प्रतिरोध से अत्यधिक दबाव की नीति इस तरह नाकाम हो गयी कि अमरीका के एक अहम अधिकारी ने कुछ दिन पहले इसे ‘शर्मनाक हार’ का नाम दिया।
सुप्रीम लीडर ने कहा कि ईरान और वेनेज़ोएला के प्रतिरोध और कामयाबी से जो नतीजा निकलता है वह यह है कि दबावों से निपटने का सिर्फ़ एक रास्ता प्रतिरोध व दृढ़ता है साथ ही इस्लामी गणराज्य ईरान और वेनेज़ोएला की बोलिवर के रास्ते पर चलने वाली सरकारी के बीच सहयोग व संपर्क पहले से ज़्यादा मज़बूत और क़रीबी होना चाहिए।


आयतुल्लाहिल उज़मा ख़ामेनेई ने दोनों मुल्कों के बीच 20 वर्षीय सहयोग के दस्तावेज़ पर दस्तख़त का स्वागत करते हुए कहा कि लंबी मुद्दत के सहयोग के लिए समझौतों की पैरवी और उसे अंजाम तक पहुंचाना ज़रूरी है।


आयतुल्लाहिल उज़मा ख़ामेनेई ने ईरान-वेनेज़ोएला के बीच निकटवर्ती सहयोग का ज़िक्र करते हुए कहा कि दोनों में से कोई भी देश किसी अन्य देश से इस तरह का निकट संबंध नहीं रखता और इस्लामी जमहूरिया ने साबित कर दिया है कि ख़तरे के मौक़े पर अपने दोस्तों का साथ देता है।


आयतुल्लाहिल उज़मा ख़ामेनेई ने वेनेज़ोएला के राष्ट्रपति निकोलस मादुरो के ज़ायोनी शासन के ख़िलाफ़ स्टैंड की सराहना करते हुए कहाः आपने ज़ायोनी शासन के ख़िलाफ़ सही व साहसिक स्टैंड लिया।


इस मुलाक़ात के में निकोलस मादुरो के साथ आया शिष्टमंडल और ईरानी राष्ट्रपति हुज्जतुल इस्लाम रईसी भी मौजूद थे।
इस मौक़े पर वेनेज़ोएला के राष्ट्रपति ने अमरीका के ख़िलाफ़ वेनेज़ोएला की जनता के कठिन संघर्ष के मौक़े पर ईरान की ओर से मिलने वाली मदद की सराहना करते हुए कहाः आप ऐसे मौक़े पर हमारी मदद के लिए आगे आए जब वेनेज़ोएला के हालात बहुत सख़्त थे और कोई दूसरा मुल्क मदद नहीं कर रहा था, आपकी मदद से हम कठिन हालात से बाहर निकले।


निकोलस मादुरो ने हालिया बरसों में वेनेज़ोएला के कठिन आर्थिक हालात की व्याख़्या में कहा कि जैसा आपने फ़रमाया, अमरीकियों ने हमारे मुल्क के ख़िलाफ़ बहुआयामी जंग शुरू की लेकिन हमने दृढ़ता के ज़रिए और पाबंदियों से मिले मौक़ो को इस्तेमाल करके अमरीका के बहुआयामी हमलों से निपटना शुरू किया और आज वेनेज़ोएला के हालात पिछले कई साल की तुलना में बेहतर हैं।


मादुरो ने तेहारन में अपनी बातचीत और दीर्घकालीन सहयोग के दस्तावेज़ पर दस्तख़त का ज़िक्र करते हुए कहा कि हम साइंस और टेक्नॉलोजी सहित अनेक क्षेत्रों में ईरान के साथ सहयोग का सटीक रोडमैप तैयार कर रहे हैं।
वेनेज़ोएला के राष्ट्रपति ने इसी तरह बल दिया कि उनका देश फ़िलिस्तीन के विषय को पवित्र मानवीय विषय की नज़र से देखता है। उन्होंने कहा कि इसी आस्था के कारण ज़ायोनी शासन मोसाद के ज़रिए वेनेज़ोएला के ख़िलाफ़ लगातार साज़िश कर रहा है।

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