۱۱ تیر ۱۴۰۳ |۲۴ ذیحجهٔ ۱۴۴۵ | Jul 1, 2024
मौलाना

हौज़ा/मौलाना वसी हैदर नक़वी साहब ने मजलिस को संबोधित करते हुए फरमाया,यह चेहलुम उस चेहलुम का प्रतीक है कि जो हजरत ज़ैनब ने अपने भाई की याद में कर्बला में मनाया था और अपने भाई की शहादत पर आंसू बहाए थे,

हौज़ा न्यूज़ एजेंसी के अनुसार ,आज दिनांक 18 सितंबर 2022 को सैफपुर नगला में कर्बला के शहीदों का चेहलुम मनाया गया जिस मजलिस को मौलाना वसी हैदर नक़वी साहब मवाना ने खिताब किया, मौलाना ने बताया यह चेहलुम उस चेहलुम का प्रतीक है कि जो हजरत ज़ैनब ने अपने भाई की याद में कर्बला में मनाया था और अपने भाई की शहादत पर आंसू बहाए थे

मौलाना ने कुरान के सूरऐ देहर की तीसरी आयत  का हवाला देते हुए बताया कि अल्लाह ने इंसानों की हिदायत की है और इस हिदायत के बदले में इंसानों को अल्लाह का शुक्रिया अदा करना चाहिए और अगर कोई अल्लाह की नेमत और  हिदायत का शुक्रिया अदा नहीं करता है तो वह अल्लाह की नेमतों का इनकार करने वालों में शामिल हो जाता है !

मौलाना ने बयान किया कि आज हम सबको इस्लाम के सिद्धांतों का पालन करना चाहिए और आपस में प्यार मोहब्बत और भाईचारे से जिंदगी गुजारनी चाहिए! हमें एक दूसरे का सम्मान करना चाहिए और किसी का अनादर नहीं करना चाहिए इस्लाम एकता और समानता का पैगाम देता है!

मौलाना ने बयान किया कि अगर कोई इस्लाम के बारे में जानना चाहता है तो उसे अफवाहों पर ध्यान नहीं देना चाहिए बल्कि इस्लाम की मूल किताब कुरान का अध्ययन करना चाहिए और गहराई से इस्लाम के इतिहास को पढ़ना चाहिए !
इस्लाम धर्म में ऊंच नीच जात पात और रंग रूप  का कोई महत्व नहीं है! इस्लाम कर्म का धर्म है और कर्म के आधार पर ही कोई ऊंचा या नीचा हो सकता है जिसके जैसे कर्म होते हैं वह वैसा ही स्थान प्राप्त करता हैं।

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